America Ke Mul Nivasiyon Ko Udit Uttam Jungali Kisne Kaha : आज जो मानव हमें दिखाई देते हैं वह आज से कुछ वर्षों पहले तक पूर्णता अलग-थलग थे और उन्हें पूरे विश्व में अलग-अलग नामों से जाना जाता था
जैसा कि भूगर्भिक वैज्ञानिकों का मानना है कि सबसे पहले मानव का अस्तित्व अफ्रीकी महाद्वीप में देखने को मिला था और उसके पश्चात वर्तमान एशियाई क्षेत्रों में उन्हें मानव विकास देखने को मिला है
जब हजारों वर्षों पहले यह मानव एक समूह बनाकर रहते थे तो अलग-अलग समूहों को अलग-अलग नामों से पुकारा जाता था जैसे कि इंडस पीपल या एबोरेजनल इत्यादि, ऑस्ट्रेलिया के पूर्वी तथा पश्चिमी भागो में रहने वाले स्वदेशी लोगों को एबोरिजिनल के नाम से जाना गया, वहीं एशियाई क्षेत्रों में रहने वाले लोगों को इंडस पीपल के नाम से जाना जाता है
यह नाम किसी एक मानव के नहीं है बल्कि पूर्ण मानव समूह के हैं जब अलग-अलग स्थानों पर अलग-अलग मानवों के समूह निवास करते थे
तो उनकी पहचान करने के लिए और उनकी जनजाति का पता लगाने के लिए एक अलग नाम होना और एक विशिष्ट नाम होना बेहद आवश्यक था, यह सभी नाम समय के साथ साथ भूगर्भिक वैज्ञानिकों द्वारा प्रदान किए गए है

परंतु आज के इस लेख में हम अमेरिका के मूल निवासियों के बारे में चर्चा करेंगे और यह देखेंगे कि वहां रहने वाले लोगों को किस नाम से जाना जाता था और साथ ही वहां के लोग किस प्रकार के थे इत्यादि
हमारे आज के इस लेख का मुख्य विषय रहेगा America Ke Mul Nivasiyon Ko Udit Uttam Jungali Kisne Kaha क्योंकि अलग-अलग स्थानों पर रहने वाले मानव समूहों को अलग-अलग विशेषज्ञों द्वारा विभिन्न प्रकार की संज्ञा प्रदान की गई थी
जिस कारण से यह देखना भी जरूरी है कि किस स्थान पर रहने वाले, किस समूह के लिए, किस विशेषज्ञ द्वारा, क्या विशेष संज्ञा दी गई है
America Ke Mul Nivasiyon Ko Udit Uttam Jungali Kisne Kaha
जब अमेरिका के मूल निवासियों के लिए हर विशेषज्ञ और हर महान व्यक्ति द्वारा विशेष प्रकार की संज्ञ निर्धारित की जा रही थी तो रूसो द्वारा America Ke Mul Nivasiyon Ko Udit Uttam Jungali की संज्ञा दी गई थी
यह विशेष प्रकार की संज्ञा आज भी एक विवादास्पद मुद्दा अमेरिका में बना हुआ है जिस कारण से यह पहचान नहीं हो पाई है कि आखिर अमेरिका के मूल निवासी कौन थे और आखिर अमेरिका के मूल निवासी है कौन?
यह जानने के बाद की America Ke Mul Nivasiyon Ko Udit Uttam Jungali Kisne Kaha के बाद हमें यह जानना चाहिए कि जो अमेरिका आज हमें दिखाई दे रहा है आज से हजारों वर्षों पहले उसमें कौन-कौन से क्षेत्र सम्मिलित थे
हजारों सालों पहले आज जिस प्रकार से सीमाएं खींची गई है उस प्रकार की सीमाएं निर्धारित नहीं थी और इसी कारण से एक विशाल भौगोलिक क्षेत्र में रहने वाले बहुत बड़े मानव समूह के लिए एक नाम निर्धारित करना भी चुनौती थी
आज मध्य अमेरिका में आने वाले देश होंडुरास, ग्वाटेमाला, बेलीज, एल साल्वाडोर, कोस्टा रिका, निकारागुआ और पनामा भी अमेरिका के ही भाग माने जाते थे और उत्तरी भाग में स्थित Canada भी अमेरिका का ही भाग माना जाता था
इसी कारण से जब अमेरिका के मूल निवासियों के निर्धारण की बात आती है तो यह प्रक्रिया इन सभी देशों के मूल नागरिकों या फिर यहां रहने वाले मूल निवासियों पर भी लागू होगी क्योंकि पहले यह सभी अमेरिका के ही भाग हुआ करते थे, पर इन देशों के मध्य समस्या यह आ रही है कि यह सभी छोटे देश भी इस बात को मानने के लिए तैयार नहीं है कि क्या वाकई में जो नाम उनके मूल निवासियों को प्रदान किया जा रहा है वह सही है या नहीं
अमेरिका के अलावा लगभग विश्व के अन्य भागों में हजारों वर्षों पहले निवास करने वाले मानव समूहों के लिए कोई ना कोई नाम निर्धारित कर दिया गया है और आज उन्हें इसी नाम से जाना जाता है
परंतु बात जब अमेरिका की आती है तो यहां के मूल निवासियों के लिए पृथ्वी के अन्य भागों में जिस प्रकार से अलग अलग नाम निर्धारित किए गए हैं, उस प्रकार से कोई भी नाम देखने को नहीं मिलता है और जिस कारण से यह नामकरण करना भी काफी ज्यादा विवादित रहता है
पृथ्वी के अन्य भागों पर रहने वाले मानव समूह का नामकरण
जैसे कि जो लोग भारत में निवास करते थे उनके लिए “इंडियन” शब्द का प्रयोग किया जाता है और वहीं कुछ लोग ऑस्ट्रेलियाई क्षेत्रों में निवास करते थे तो उनके लिए एबोरिजनल शब्दों का प्रयोग किया जाता है
इंडियन शब्द का प्रयोग भारतीयों के लिए सबसे पहले क्रिस्टोफर कोलंबस द्वारा किया गया था और इन्हीं के द्वारा 1493 में अमेरिका की खोज की गई थी परंतु यह खोज इंडिया की करने वाले थे
अमेरिका की खोज करने के अलावा क्रिस्टोफर कोलंबस द्वारा अमेरिका के पूर्वी क्षेत्रों में कुछ छोटे-छोटे द्वीपों की भी खोज की गई थी जिसे आज वेस्टइंडीज के नाम से जाना जाता है
इसीलिए वेस्टइंडीज के लोगों के लिए “इंडीज” शब्द का प्रयोग किया जाता है जो कि वहां के मूल निवासी होने के प्रमाण को दर्शाता है
वही बात की जाए अमेरिका के उत्तरी भाग में स्थित कनाडा की तो वहां के मूल निवासियों के लिए भी कुछ शब्दों का प्रयोग किया जाता है जैसे कि इन्यूट और मेटियास इत्यादि
अमेरिका के पड़ोसी राष्ट्र कनाडा के मूल निवासियों को एक उपयुक्त नाम मिल जाने के बावजूद भी अभी तक अमेरिका के मूल निवासियों के लिए किस शब्द का प्रयोग किया जाता था, इस बात का जवाब बहुत सारे भूगर्भिक वैज्ञानिकों द्वारा नहीं दिया जा सका है
जिस कारण से अमेरिका के मूल निवासियों के वास्तविक नाम के बारे में काफी विवादास्पद स्थिति अमेरिका में रहती हैं
अमेरिका के मूल निवासियों के नामकरण से संबंधित विवाद
इस विवाद के उत्पन्न होने के पीछे बहुत सारे कारण विद्यमान हैं परंतु जो कारण सबसे ज्यादा इस विवाद को भड़काने वाले हैं वे निम्नलिखित हैं
- जब वैज्ञानिकों से यह पूछा जाता है कि आखिर अमेरिका में निवास करने वाले प्राचीन मूल निवासियों के लिए उपयुक्त होने वाला एक शब्द कौन सा है तो उनकी ओर से इसका कोई जवाब नहीं मिल पाता और अगर जवाब आता भी है तो यह कह दिया जाता है कि किसी एक नाम का निर्धारण करना लगभग असंभव है
- वैज्ञानिकों का मानना है कि अमेरिका में रहने वाले प्राचीन लोगों द्वारा छोटे-छोटे उप समूहों में निवास किया जाता था जिस कारण से इन्हें एक नाम नहीं दिया जा सकता हालांकि इन छोटे-छोटे उप समूहों के लिए कई नाम प्रचलित हैं
- अमेरिकियों द्वारा एक नाम को इनके मूल निवासियों के लिए फिक्स करने के लिए बताया जाता है वह शब्द हैं ” मूल अमेरिकी ” परंतु यह शब्द वर्तमान परिपेक्ष्य से सही हैं पर प्राचीन काल से बिल्कुल भी मेल नहीं खाता
- एक सटीक नाम ना रखने के पीछे जो सबसे बड़ा कारण अभी तक माना गया है वह है कि हजारों संस्कृतियों के लोग अमेरिका के प्राचीन भौगोलिक क्षेत्र पर निवास करते थे और इन संस्कृतियों में बहुत ज्यादा भाषाई विविधता और सांस्कृतिक विविधता होने के कारण किसी एक सटीक नाम का प्रयोग करना भी अनुचित माना जाएगा
- बहुत सारे एशियाई देशों के लोग भी अमेरिका के भौगोलिक क्षेत्रों पर निवास करते थे और शायद यह भी एक कारण हो सकता है कि अभी तक अमेरिका के मूल निवासियों को कोई प्रॉपर नाम नहीं मिल पाया है
- अमेरिका में रहने वाले लोग समय-समय पर अपने स्थान को परिवर्तित करते रहते थे जिस कारण भी उन्हें एक सही नाम नहीं मिल पाया
तो अब आप समझ गए होंगे कि आखिर इन्हें एक सटीक नाम ना मिलने के पीछे कौन-कौन से कारण विद्यमान हैं और किन-किन कारणों को दूर करने पर इन लोगों को एक सटीक नाम दिया जा सकता है
परंतु फिर भी जब अमेरिकी लोगों द्वारा उनके मूल निवासियों के नाम के बारे में पूछा जाता है तो उनके द्वारा एक शब्द का प्रयोग किया जाता है जोकि है “अमेरिकन इंडियंस”
सामान्यता देखा जाए तो इंडियंस का मतलब होता है वह लोग जो वहां की धरती पर हजारों वर्षों से निवास कर रहे हैं और वही उनकी मातृभूमि हैं
मूल निवासियों को नाम कैसे दिया जाता है
किसी भी क्षेत्र के मूल निवासियों के नामकरण को समझने से पहले यह जानना जरूरी है कि आखिर मूलनिवासी होते कौन हैं?
वे लोग या लोगों का समूह जो किसी क्षेत्र राष्ट्र या किसी भी इलाके में एक लंबे समय से निवास कर रहा है और साथ ही साथ उससे पहले उनके पूर्वज भी वहीं पर निवास करते थे और वहीं पर उनकी बहुत सारी आगामी पीढ़ीया भी निवास करेगी
ऐसे लोगों या लोगों के समूह को उस क्षेत्र के मूल निवासी के रूप में जाना जाता है
जब बात आती है इन मूल निवासियों के किसी नाम को देने की तो यहां पर हजारों वर्षों से रहने वाली जनजातियों और विभिन्न मानव जातियों के नामों को मिलाकर उनका नामकरण किया जाता है
उदाहरण के तौर पर वर्तमान में इंडिया में निवास करने वाले मूल निवासियों को इंडियंस के नाम से जाना जाता है,वहीं दक्षिणी अमेरिका में निवास करने वाले मूल निवासियों को रेड इंडियन या नेटिव इंडियंस के नाम से जाना जाता है
इन जनजातियों का नामकरण कैसे भी हो सकता है जैसे कि अगर वह जनजाति किसी नदी के किनारे रह रही है तो उसी के आधार पर उसका नामकरण हो जाएगा और यदि वह कोई झरने या पेड़ पौधों के पास रह रही हैं तो उनके आधार पर ही उसका नामकरण हो जाएगा
उदाहरण के तौर पर कुछ लोगों के समूह द्वारा इंडिया में सिंधु नदी के किनारे निवास किया जाता था और वहां की सभ्यता को इंडस सिविलाइजेशन नाम दे दिया गया और वहीं पर इजिप्ट में रहने वाली कई जनजातियों को इजिप्ट सिविलाइजेशन नाम दे दिया गया
इस तरह से देखा जाए तो किसी भी क्षेत्र के मूल निवासियों को नाम प्रदान करने के लिए तीन चरणों से गुजरना होता है जोकि निम्नलिखित हैं
- कौन है मूलनिवासी?
- निवास करने वाली जनजातीया
- प्राकृतिक व भौगोलिक परिवेश
- उनके रहन-सहन का ढंग
- विविध प्रकार के संसाधनों के साथ आपसी तालमेल
अगर इस प्रकार की खोज को व्यापक स्तर पर ले जाते हुए अमेरिका में किया जाए तो हो सकता है कि वहां हजारों वर्षों पहले निवास करने वाले लोगों के लिए भी एक उपयुक्त नाम खोजा जा सकता है परंतु इसके लिए विशेष रिसर्च की और मेहनत की आवश्यकता पड़ती है
FAQs : America Ke Mul Nivasiyon Ko Udit Uttam Jungali Kisne Kaha
सवाल : अमेरिका के मूल निवासी को उदय उत्तम की जंगली किसने कहा?
यह नाम इतिहासकार रूसो द्वारा अमेरिका के मूल निवासियों को दिया गया था
सवाल : अमेरिका की खोज कब और किसने की थी?
अमेरिका की खोज 1493 में क्रिस्टोफ़र कोलंबस द्वारा की गई थी
सवाल : ऑस्ट्रेलियाई आदि क्षेत्रों में निवास करने वाले मूल निवासियों को क्या कहा जाता है?
इन मूल निवासियों को एबोरजिनल के नाम से जाना जाता है
सवाल : भारतीय उपमहाद्वीप में रहने वाले मूल निवासियों को किस नाम से जाना जाता है?
इन मूल निवासियों को इंडस पीपुल या इंडियंस के नाम से जाना जाता है
सवाल : वेस्टइंडीज आदि के द्वीपों पर रहने वाले मूल निवासियों को किस नाम से जाना जाता है?
इन मूल निवासियों को वेस्ट इंडीज/इंडस पीपल के नाम से जाना जाता है
सवाल : क्या अमेरिका के लोगों को उदास उत्तम जंगली कहना सही है?
नहीं, उनके द्वारा किसी भी प्रकार के घुमक्कड़ जंगली जीवन को नहीं दिया जाता था जिस कारण से रूसो द्वारा उन्हें यह संज्ञा दी गई थी
Conclusion
तो पाठको हम आशा करते हैं कि आपको आज का हमारा यह लेख America Ke Mul Nivasiyon Ko Udit Uttam Jungali Kisne Kaha बहुत ज्यादा पसंद आया होगा
और विशेषकर इस प्रकार के आर्टिकल्स को समझने के लिए संज्ञानात्मक बुद्धि होना भी आवश्यक है जो कि हम मानते हैं कि आप सभी में हैं, अगर आपको हमारा यह लेख पसंद आया हो तो आपके अमूल्य Comment को हमारे Comment Box में जरुर Share करें और साथ ही इस लेख को अपने पसंदीदा लोगों के साथ भी जरूर Share करें
ताकि आगे आने वाले समय में हम आपके लिए इसी प्रकार के ज्ञानवर्धक लेख लाते रहे और आपके ज्ञान में सकारात्मक वृद्धि करते रहे, इस लेख को पढ़ने के लिए आपका बहुत-बहुत आभार और धन्यवाद